दोस्तों आज हम ने गौरैया को बचाने के लिए स्लोगन लिखा हैं क्योंकि वर्तमान में गौरैया पक्षियों की संख्या दिन प्रतिदिन घटती जा रही है साथ ही शहरों में तो इनकी संख्या इतनी कम हो गई है कि कभी-कभार ही देखने को मिलती है। हम अपने स्वार्थ के लिए पेड़ पौधे काट रहे है और जमकर प्रदूषण फैला रहे है जिसके कारण इनकी प्रजातियां लुप्त हो रही है। हमें इनको बचाने के लिए आज से ही संघर्ष करना होगा तभी जाकर हमारी अगली पीढ़ी इनको को देख पाएगी।
जियो और जीने दो।
जीव बचाओ, धरती बचाओ, इस दुनिया को चलो स्वर्ग बनाओ।
मत करो अपना अपमान, जीवों का भी है स्वाभिमान।
स्वच्छ पर्यावरण से नाता जोड़ो, जैव विविधता से मुंह न मोड़ो।
हमें निभाना है अब उनका काम, जीवों को बचाने वालो को सलाम।
जितने ज्यादा जीव बचाना, उतना बेहतर पर्यावरण बनाना।
जीव – जन्तुओ को मत भगाओ, पर्यावरण बचाओ, पर्यावरण बचाओ।
अब छोड़ दो कोई भी शक, पर्यावरण पर है सबका हक।
जीव – जंतु हैं एक वरदान, इसलिए करो इनका सम्मान।
प्रकृति का न करो शोषण, यह करती जीवों का पोषण।
पक्षी है आसमान के रंग-बिरंगे रंग
इन्हें ना मिटाओ, इन्हें ना हटाओ।
आज पक्षियों को बचाओगे, तो कल सुनहरी प्रकृति पाओगे।
चिड़िया करती एक ही पुकार,
मुझे बचाओ, मेरा ना करो संहार।
हम सब ने यह ठाना है, पक्षियों को बचाना है।
पक्षियों को नहीं बचाओगे,
तो सुबह चहकती आवाज कहां से लाओगे।
पक्षी है आसमान के तारे इन्हें तोड़ोगे तो,
जीवन में अंधियारा हो जाएगा।
चलो आज आदमी से फ़रिश्ते बन जाओ,
आज एक पक्षी की जान बचाओ।
कहीं गुम ने हो जाए ये चहकते पक्षी,
आओ मिलकर इनकी जान बचाए।
आज से जीवन में एक नियम बनाओ,
पक्षियों को भी अपने घर का सदस्य बनाओ।
आओ मिलकर प्रण ले,
पक्षियों को ना मारेंगे, ना मारने देंगे।
शहर की गलियों में
आवाज़ गौरैया की आना,
लगता है कहीं
आज रास्ता भूल गई।
घर के आंगन में तुम
आनाज सुखाओ तो राॅयल
देखना फिर गोरैया दौड़ी चली आएगी।
आओ हम आगे आये,
मासूम गौरेया को बचाए।
आओ एक कदम हम भी बढ़ाये,
घर में वापस चहचहाट चिड़ियों की लाये।
आओ आंगन और छत पर रखे पर दाना पानी और इसी से बचेंगी हमारी प्यारी चिड़ियाँ रानी….।।
हर घर की छत पे पानी रखना हैं,
गौरैया की प्यास बुझाना हैं।
घर मकान में क्या बदला गौरैया रूठ गयी।
आवाज उठाओ, पक्षियों को संरक्षण दो।
पर्यावरण को बचाना है, तो पक्षियों को बचाना होगा।
जन जन तक यह संदेश पहुंचाना है,
पक्षियों की सुरक्षा होगी, तो पर्यावरण की सुरक्षा होगी।
जीवो की रक्षा है देश की रक्षा।
मैं भी साथ – तू भी साथ, मानव और जीव अब साथ – साथ।
जीव – संरक्षण का वचन निभाओ, हर एक जीव को बचाओ।
टूट जायेगा यह पारिस्थितिक तंत्र, तब कहाँ से लाओगे जीव बचाने का मन्त्र।
हर दिल में यह प्यार जलाये, पशुओ को मरने से बचाए।
तभी मनुष्य बनेगा महान, जब जीवो का होगा कल्याण।
चलो एक पहल चलाये, सारे जीवो को बचाए।
धरती माता करे पुकार, जीवो का न करो संहार।
जैव विविधता का सम्मान करे, मानवता पर अभिमान करे।
पहले उड़ती – फिरती थी,
ये हर डाली – डाली।
कौन – थी ये चिड़िया प्यारी ?
क्या नाम है इसका,
जरा – पूछो भईया ?
अरे ये चिड़िया है – गौरैया।।
पहले दिखती थी ये,
हर – घर आँगन में।
परन्तु अब है ये,
पक्षी संकट में।।
इसे बचाने के लिए,
करना पड़ेगा कोई उपाय।
ताकि ये चिड़िया,
इस धरती पर बच पाएँ।।
थोड़ा – सा दाना और थोड़ा – सा पानी,
अगर इसे मिल पाएँ।
तो इसकी प्रजाति,
इस धरती पर बढ़ जाएँ।।
यदि नहीं किया अभी ऐसा,
तो आने वाले वक्त में।
कभी ये खबर आयें,
एक छोटी – सी चिड़िया थी न्यारी।
नाम था जिसका गौरैया प्यारी।।
जियो और जीने दो।
जीव बचाओ, धरती बचाओ, इस दुनिया को चलो स्वर्ग बनाओ।
मत करो अपना अपमान, जीवों का भी है स्वाभिमान।
स्वच्छ पर्यावरण से नाता जोड़ो, जैव विविधता से मुंह न मोड़ो।
हमें निभाना है अब उनका काम, जीवों को बचाने वालो को सलाम।
जितने ज्यादा जीव बचाना, उतना बेहतर पर्यावरण बनाना।
जीव – जन्तुओ को मत भगाओ, पर्यावरण बचाओ, पर्यावरण बचाओ।
अब छोड़ दो कोई भी शक, पर्यावरण पर है सबका हक।
जीव – जंतु हैं एक वरदान, इसलिए करो इनका सम्मान।
प्रकृति का न करो शोषण, यह करती जीवों का पोषण।
पक्षी है आसमान के रंग-बिरंगे रंग
इन्हें ना मिटाओ, इन्हें ना हटाओ।
आज पक्षियों को बचाओगे, तो कल सुनहरी प्रकृति पाओगे।
चिड़िया करती एक ही पुकार,
मुझे बचाओ, मेरा ना करो संहार।
हम सब ने यह ठाना है, पक्षियों को बचाना है।
पक्षियों को नहीं बचाओगे,
तो सुबह चहकती आवाज कहां से लाओगे।
पक्षी है आसमान के तारे इन्हें तोड़ोगे तो,
जीवन में अंधियारा हो जाएगा।
चलो आज आदमी से फ़रिश्ते बन जाओ,
आज एक पक्षी की जान बचाओ।
कहीं गुम ने हो जाए ये चहकते पक्षी,
आओ मिलकर इनकी जान बचाए।
आज से जीवन में एक नियम बनाओ,
पक्षियों को भी अपने घर का सदस्य बनाओ।
आओ मिलकर प्रण ले,
पक्षियों को ना मारेंगे, ना मारने देंगे।
शहर की गलियों में
आवाज़ गौरैया की आना,
लगता है कहीं
आज रास्ता भूल गई।
घर के आंगन में तुम
आनाज सुखाओ तो राॅयल
देखना फिर गोरैया दौड़ी चली आएगी।
आओ हम आगे आये,
मासूम गौरेया को बचाए।
आओ एक कदम हम भी बढ़ाये,
घर में वापस चहचहाट चिड़ियों की लाये।
आओ आंगन और छत पर रखे पर दाना पानी और इसी से बचेंगी हमारी प्यारी चिड़ियाँ रानी….।।
हर घर की छत पे पानी रखना हैं,
गौरैया की प्यास बुझाना हैं।
घर मकान में क्या बदला गौरैया रूठ गयी।
आवाज उठाओ, पक्षियों को संरक्षण दो।
पर्यावरण को बचाना है, तो पक्षियों को बचाना होगा।
जन जन तक यह संदेश पहुंचाना है,
पक्षियों की सुरक्षा होगी, तो पर्यावरण की सुरक्षा होगी।
जीवो की रक्षा है देश की रक्षा।
मैं भी साथ – तू भी साथ, मानव और जीव अब साथ – साथ।
जीव – संरक्षण का वचन निभाओ, हर एक जीव को बचाओ।
टूट जायेगा यह पारिस्थितिक तंत्र, तब कहाँ से लाओगे जीव बचाने का मन्त्र।
हर दिल में यह प्यार जलाये, पशुओ को मरने से बचाए।
तभी मनुष्य बनेगा महान, जब जीवो का होगा कल्याण।
चलो एक पहल चलाये, सारे जीवो को बचाए।
धरती माता करे पुकार, जीवो का न करो संहार।
जैव विविधता का सम्मान करे, मानवता पर अभिमान करे।
पहले उड़ती – फिरती थी,
ये हर डाली – डाली।
कौन – थी ये चिड़िया प्यारी ?
क्या नाम है इसका,
जरा – पूछो भईया ?
अरे ये चिड़िया है – गौरैया।।
पहले दिखती थी ये,
हर – घर आँगन में।
परन्तु अब है ये,
पक्षी संकट में।।
इसे बचाने के लिए,
करना पड़ेगा कोई उपाय।
ताकि ये चिड़िया,
इस धरती पर बच पाएँ।।
थोड़ा – सा दाना और थोड़ा – सा पानी,
अगर इसे मिल पाएँ।
तो इसकी प्रजाति,
इस धरती पर बढ़ जाएँ।।
यदि नहीं किया अभी ऐसा,
तो आने वाले वक्त में।
कभी ये खबर आयें,
एक छोटी – सी चिड़िया थी न्यारी।
नाम था जिसका गौरैया प्यारी।।